तेरो करि लै काज वक्त फिरना: Difference between revisions
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Latest revision as of 02:38, 16 February 2008
(राग सारंग लूहरी)
तेरो करि लै काज बक्त फिरना ।।तेरी. ।।टेक ।।
नरभव तेरे वश चालत है, फिर परभव परवश परना ।।१ ।।तेरो. ।।
आन अचानक कंठ दबैंगे, तब तोकौं नाही शरना ।
यातैं विलम न ल्याय बावरै, अब ही कर जो है करना ।।२ ।।तेरो. ।।
सब जीवनकी दया धार उर, दान सुपात्रनि कर धरना ।
जिनवर पूजि शास्त्र सुनि नित प्रति, बुधजन संवर आचरना ।।३ ।।तेरो. ।।