अनुपमा
From जैनकोष
वरांग. च./सर्ग/श्लोक "समृद्धपुर के राजा धृतिसेन की पुत्री थी (२/११)। वरांगकुमार से विवाही गयी (२/८७)। अन्तमें दीक्षा धारण कर ली (२९/१४) तथा घोर तपश्चरण कर स्वर्ग में देव हुई (३१/११४)।
वरांग. च./सर्ग/श्लोक "समृद्धपुर के राजा धृतिसेन की पुत्री थी (२/११)। वरांगकुमार से विवाही गयी (२/८७)। अन्तमें दीक्षा धारण कर ली (२९/१४) तथा घोर तपश्चरण कर स्वर्ग में देव हुई (३१/११४)।